अरथव्यवस्था – आज क्या चल रहा है?
नमस्ते! अगर आप भारतीय अर्थव्यवस्था या विदेशी मार्केट की ताज़ा जानकारी चाहते हैं, तो सही जगह पर आए हैं. यहाँ हम RBI के रेपो रेट अपडेट और अमेरिकी शेयर बाजार में हालिया हलचल को आसान भाषा में समझेंगे.
RBI का रेपो रेट – क्या बदला?
आज RBI ने फिर से 6.5% की दर पर रेपो रेट बरकरार रखी. यह फैसला पिछले आठ महीनों में लगातार जारी रहा है। मौद्रिक नीति समिति (MPC) के चार सदस्यों ने इस स्तर को बनाए रखने का समर्थन किया, क्योंकि महंगाई अभी भी लक्ष्य से ऊपर है और आर्थिक विकास को स्थिर रखना जरूरी है।
रेपो रेट वही रहने से बैंकें उधार लेने की लागत नहीं बढ़ती, इसलिए लोन पर ब्याज दर में तुरंत बदलाव नहीं देखेंगे. अगर आप घर का लोन या कार लोन ले रहे हैं, तो इस निर्णय का असर सीधे आपके EMI पर पड़ेगा।
RBI ने बताया कि अगले तिमाही में यदि महंगाई के आंकड़े सुधरते दिखे, तो दर में कोई बदलाव संभव है, लेकिन अभी तक फेडरल रिज़र्व की तरह जल्दी‑जल्दी नहीं बदलेंगे। यह जानकारी उन लोगों के लिये मददगार है जो निवेश या बचत योजना बना रहे हैं.
अमेरिकी शेयर बाजार – अप्रैल 2025 का झटका
दूसरी ओर, अमेरिकी शेयर बाजार ने अप्रैल 2025 में एक बड़ी गिरावट देखी. टैरिफ विवाद के कारण दो दिनों में लगभग $6.6 ट्रिलियन की मार्केट वैल्यू खो दी और VIX (वोलेटिलिटी इंडेक्स) 45.31 तक पहुंच गया। यह सबसे अधिक अस्थिरता स्तर था जो हमने पिछले साल देखा था.
परंतु अगस्त तक प्रमुख सूचकांक ने फिर से ऊपर उठकर रिकॉर्ड के करीब पहुँच गए. इस रिकवरी में टेक, यूटिलिटीज और फाइनेंशियल सेक्टर की कंपनियों ने अच्छा प्रदर्शन किया। अगर आप विदेशी शेयरों में निवेश कर रहे हैं, तो यह अवधि दोनों ही जोखिम और अवसर लेकर आई.
विशेषज्ञ कहते हैं कि टैरिफ नीतियां, महंगाई का दबाव और कॉरपोरेट मार्जिन अभी भी मार्केट को प्रभावित करेंगे. इसलिए किसी भी निर्णय से पहले इन कारकों को ध्यान में रखना चाहिए.
सारांश में, भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए RBI की स्थिर रेपो रेट नीति मौजूदा आर्थिक माहौल में संतुलन बनाने का प्रयास है, जबकि अमेरिकी बाजार की अस्थिरता वैश्विक निवेशकों को सतर्क रखती है. इन दोनों घटनाओं को समझकर आप अपने वित्तीय फैसले अधिक ठोस बना सकते हैं.
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अमेरिकी शेयर बाजार: अप्रैल 2025 क्रैश से अगस्त रिकवरी तक का बड़ा विश्लेषण
अप्रैल 2025 में टैरिफ विवाद से अमेरिकी बाजार दो दिनों में 6.6 ट्रिलियन डॉलर खो बैठे—VIX 45.31 तक उछला, तेल 2021 के स्तर पर फिसला। लेकिन अगस्त तक सूचकांक फिर रिकॉर्ड के करीब लौट आए। इंडस्ट्रियल्स, यूटिलिटीज और फाइनेंशियल्स ने बढ़त संभाली। फेड दर कटौती पर सतर्क है, PPI को ‘खतरनाक’ बताया गया। आगे राह टैरिफ, महंगाई और कॉरपोरेट मार्जिन पर निर्भर है।
आज आरबीआई एमपीसी घोषणा करेगी रेपो रेट: जानें कब और कहाँ देखें
आज भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) की मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) रेपो रेट की घोषणा करने जा रही है। यह निर्णय आर्थिक विकास और मुद्रास्फीति को नियंत्रित करने में महत्वपूर्ण साबित होगा। आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास की अगुवाई में होने वाली इस घोषणा का लाइव स्ट्रीमिंग में प्रसारण किया जाएगा।
आरबीआई मौद्रिक नीति: 8वीं बार 6.5% पर अपरिवर्तित रहा रेपो रेट
भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने 8वीं बार रेपो रेट को 6.5% पर अपरिवर्तित रखा है। यह निर्णय 5-7 जून को हुई मौद्रिक नीति समिति की बैठक में लिया गया, जिसमें 6 में से 4 सदस्यों ने वर्तमान दर को बनाए रखने के पक्ष में मतदान किया। आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने बताया कि FY24 में वास्तविक जीडीपी वृद्धि 8.2% रहने का अनुमान है।